
रायपुर। महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (मनरेगा) का नाम बदले जाने के विरोध में कांग्रेस ने छत्तीसगढ़ में आंदोलन तेज कर दिया है। राजधानी रायपुर में आजाद चौक स्थित गांधी प्रतिमा के सामने कांग्रेस नेताओं और कार्यकर्ताओं ने धरना प्रदर्शन किया। धरने में रायपुर शहर ग्रामीण कांग्रेस अध्यक्ष सहित पार्टी के वरिष्ठ नेता हाथों में महात्मा गांधी की तस्वीर लेकर बैठे नजर आए।
कांग्रेस नेताओं का कहना है कि मनरेगा का नाम बदलना महात्मा गांधी के विचारों और विरासत का अपमान है। इसी मुद्दे को लेकर कांग्रेस पूरे प्रदेश में एक साथ धरना-प्रदर्शन कर रही है और सरकार के फैसले को वापस लेने की मांग कर रही है।
कांग्रेस के धरने पर बीजेपी का पलटवार
भाजपा ने कांग्रेस के आंदोलन पर तीखा पलटवार किया है। भाजपा प्रदेश अध्यक्ष किरण देव ने कहा कि बापू और सरदार पटेल समेत कई महापुरुषों को कांग्रेस ने ही भुला दिया। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में मजदूरों के हित में बड़ा फैसला लिया गया है, जिसके तहत अब मजदूरों को 100 की जगह 125 दिन का रोजगार मिलेगा, इसके लिए कांग्रेस को धन्यवाद देना चाहिए।
125 दिन मजदूरी मिलने पर कांग्रेस को पीढ़ा क्यों? – HM विजय शर्मा
इसी मुद्दे पर गृह मंत्री विजय शर्मा ने भी कांग्रेस पर सवाल खड़े किए। उन्होंने कहा कि 125 दिन की मजदूरी मिलने पर कांग्रेस को पीड़ा क्यों हो रही है? गृह मंत्री ने दावा किया कि भाजपा महात्मा गांधी के समाजवाद और उनकी मान्यताओं के सबसे करीब है और सरकार का उद्देश्य केवल गरीब और मजदूर वर्ग को अधिक लाभ पहुंचाना है।मनरेगा के नाम परिवर्तन को लेकर प्रदेश की राजनीति गरमा गई है। एक ओर कांग्रेस इसे विचारधारा से जोड़कर विरोध कर रही है, तो दूसरी ओर भाजपा इसे मजदूर हित में उठाया गया कदम बता रही है।




